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बुधवार, 31 दिसंबर 2014

जो तू मिला

जो तू मिला तो मैं मिला
जो तू चला संग मैं चला
गर तू गया तो जान ले
मर भी गया मिट भी गया

ज़िद ये नहीं ज़ज्बात है
तुझसे ही अब हर बात है
तू रौशन सवेरा है बना
खुशियों की ये शुरुआत है

तकलीफ में थी ज़िन्दगी
भूला  था मैं तो बन्दगी
मुस्कान तेरी देखकर
उम्मीद फिर से है जगी

बन जा तू मेरा इस दफ़ा
मत बैठ मुझसे यूँ ख़फ़ा
हाथों में दे दे हाथ तू
ले तेरी हुई मेरी वफ़ा

गर तू गया तो जान ले
मर भी गया मिट भी गया। 

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